असूर दल विरुद्ध माय दुर्गा युद्ध

 


असूर दल विरुद्ध माय दुर्गा युद्ध

दुर्गा सप्तशती मा से युद्ध नजारों

तेरह अध्याय मा से समाचार सारो:--------

माय भवानी लक लड़ेव दुष्ट महिषासुर;

मारेव गयो महिषासुर रुप पांच बदलकन!

भैंसा पुरुष हत्ती नकली शेर होयकन;

अंत मा पतन भयो त्रिशूल प्रहारकन।

 

शुंभ निशुंभ आया ये महाअसुर बनकन;

ईंन्द्र देव सहित सब देवता ला हरायकन!

देवता ईनला स्वर्ग नगरी लक भगायकन;

माय को द्वार गया;सब देवता बुलावन।

 

आयी माय कौशिका स्वरुप बदलकन;

सुन्दर सी हिमाचल मा प्रतिज्ञा करकन!

शुंभ निशुंभ का दूत चंड मुंड न देखकन;

दिवाना भया शुंभ निशुंभ समाचार सुनकन।

 

शुंभ निशुंभ का दूत सब गया देवी ला आनन;

पटरानी बनावन को भाव उनमा भयो उत्पन्न!

दूत धूम्रलोचन जासे करसे चेष्टा जबरन;

माय को हुंकार लक भष्म होसे धूम्रलोचन।

 

पुनः जासेत चंड मुंड देवी ला आनन;

चंड मुंड ला मारसे उनकी मुंड काटकन!

दूत रक्तबीज जासे छलिया होयकन ;

कटकन भी प्रगटसे ; ख़ून लक उत्पन्न ;

रक्तबीज ला; देवी खासे काट निगल कन:-----

 

 

बन गई होती तब माय भयानक जगदम्बा!

खूब डरावनी लग कारी विकराल अम्बा।

क्रोधी सिंह सवारी शेरावाली चंडिका चंडा!

लाल लम्बी जिह्वा वाली नरमुंडधारी प्रचंडा।

 

निशुंभ दैत्य ला मारसे धराशायी करकन!

लड़से दुष्ट हजार रथ हाथी ला धरकन।

मरसे निशुंभ दैत्य धरती पर पड़कन!

शुंभ ला क्रोध आवसे असो कृत्य देखकन।

 

जासे शुंभ दैत्य तीव्र क्रोधित होयकन!

भवानी को संगमा लड़से पहाड़ हिलायकन।

तब माय भवानी को सिंह खूब करसे गर्जन!

आसमान ब्रम्हाण्ड मा होसे तब खूब कम्पन्न।

अंत मा मारेव जासे शुंभ दानव कटकन::-----

 

विस्तृत से विवरण करीसेव संक्षेपण!

आदिकाल पासून युद्ध नजारों देखकन।

रामचरण पटले देवी को शरण मा जायकन!

मायबोली शब्दावली मा करेव शुध्द लेखन।

देवी गीतकार-रामचरण हरचंद पटले

महाकाली नगर नागपुर

 मोबाइल नं ९८२३९३४६५६

मुकाम पोष्ट कटेरा तहसील -कटंगी जिला बालाघाट (म.प्र)





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