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पोवारी साहित्य सरिता भाग ६९

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पोवारी साहित्य अना सांस्कृतिक उत्कर्ष द्वारा आयोजित पोवारी साहित्य सरिता भाग ६९ 💐🚩💐🚩💐🚩💐🚩💐🚩   आयोजक डॉ. हरगोविंद टेंभरे    मार्गदर्शक श्री. व्ही. बी.देशमुख 🚩🏵️🕉️🏵️🕉️🏵️🕉️🚩  १.कथा पोवारों को स्थानांतरण की ----------------🙏🕉️🙏---------- ----          तीनसौ साल पहले मालवा सोड़ीन l           पूर्वजों न् आपला जुना गांव सोड़ीन l श्रीराम रघुराई को सुमिरन करक़े , मालवा राजस्थान का गांव गव्हान सोड़ीन ll नगरधन को किला मा डेरा जमाईन l नवो परिवेश मा तालमेल बसायीन l श्रीराम रघुराई को सुमिरन करके , वैनगंगा को आंचल मा किसानी बनाईन  ll पूर्वजों न्  तलाव बोड़ी बनाईन l नवो परिवेश मा नवा गांव बसाईन l श्रीराम रघुराई को सुमिरन करके ,   सभी नवो गांव मा राम मंदिर  बनाईन ll बैहर की भूमि ला उपजाऊ बनाईन l गहूं चना धान की फसल उगाईन l श्रीराम रघुराई  को सुमिरन करके, सिहारपाठ पर रामजी को मंदिर बनाईन ll बैहर ला संस्कृति को केंद्र बनाईन l नवी पीढ़ी ला धर्म की राह देखाई‌न l      श्रीराम रघुराई को सुमिरन करके , वैनगंगा को आंचल मा खुशहाली पाईन ll इतिहासकार प्राचार्य ओ सी पटले शनि.२२/१०/२०२२. --------

पोवार(३६ कुर पंवार) समाज मा बिहया का रीति-रिवाज अना नियम

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  पोवार(३६ कुर पंवार) समाज मा बिहया का रीति-रिवाज अना नियम   १).  हमारो समाज मा  पुरातन् काल मा छत्तीस कुर होता पर वैनगंगा क्षेत्र मा एकतीस कुर की बसाहट  भई अना आता इनको बीचमा को पारिवारिक संबद्ध मा होनेवाला बिहया सजातीय बिहया ला समाज मा मान्यता देसेती। २). आमरो क्षत्रिय कुर पोवार (छत्तीस कुर पंवार) समाज मा विवाह योग्य कुर/कुल १. अम्बुले (अमुले) ,  २. बघेले (बघेल) ,  ३. भगत (भक्तवर्ती ) ,    ४. भैरम ,    ५. भोएर ,  ६. बिसेन ,    ७. बोपचे ,  ८.चौहान ,  ९.चौधरी ,  १०. डाला ,  ११. तुरकर ,  १२. गौतम ,  १३. हनवत ,  १४. हरिनखेड़े ,  १५. जैतवार ,  १६. कटरे १७. कोल्हे ,  १८. क्षीरसागर ,  १९. पटले २०. परिहार ,  २१. पारधी ,  २२. पुण्ड  , २३. राहंगडाले ,  २४. येड़े ,  २५. रिनायत ,  २६. राणा (राणे) २७. शरणागत ,  २८. सहारे ,  २९. सोनवाने ,  ३०. ठाकरे (ठाकुर) ,  ३१. टेम्भरे। रावत ,  फरीदाले ,  रणमत ,  रनदीवा अना राजहंस कुल ला मिलायकन पोवार समाज का ३६ कुर/कुल होन का इतिहास मा उल्लेख से पर आपरो क्षेत्रमा ये कुल प्रायः लुप्त भय गया सेती। ३).   समान कुल मा बिया मान्य नहाय  अना यव घोर पाप की श्रेणी मा आवस